इटावा, 9 फरवरी 2022 : प्रगतिशील समाजवादी पार्टी (प्रसपा) के अध्यक्ष शिवपाल सिंह यादव का दर्द अब छलक पड़ा है। सोमवार रात जसवंतनगर विधानसभा क्षेत्र के मलाजनी स्थित एक होटल में कुछ कार्यकर्ताओं के साथ बैठक में उन्होंने कहा कि अपनी पार्टी कुर्बान कर दी, लेकिन बदले में कुछ भी नहीं मिला। पार्टी के 100 प्रत्याशियों की घोषणा कर चुके थे, मगर भाजपा को हराने के लिए गठबंधन स्वीकार कर लिया।
उन्होंने कहा कि अखिलेश से शुरू में 65 सीटें मांगी थीं, तो कहा गया कि ज्यादा हैं। फिर हमने 45 सीटें मांगी। आखिर में 35 सीटों का प्रस्ताव दिया, मगर आपको तो पता ही है कि मिली सिर्फ एक। अगर समीक्षा होती तो हमारे 20 लोग जीतकर आ रहे थे, लेकिन यह नहीं हुआ। अब इन सारी सीटों की कसर इस सीट पर जीत का रिकार्ड बनाकर पूरी करनी है। फिर बोले-कम से कम 50 सीट तो मिलनी ही चाहिए थीं।
शिवपाल सिंह यादव इस समय जसवंतनगर क्षेत्र में ही प्रचार में जुटे हैं। उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा कि जसवंतनगर व मैनपुरी के करहल में उनके और अखिलेश के बीच जीत के अंतर को लेकर मुकाबला है। इसलिए उन्हें प्रदेश में सबसे बड़ी ऐतिहासिक जीत दिलाएं। अखिलेश को मुख्यमंत्री बनाने के लिए हमने पार्टी का बलिदान कर दिया है। सामाजिक परिवर्तन रथ यात्रा निकाली थी, जनता का प्यार भी मिला था। पूर्व सांसद रघुराज सिंह शाक्य के भाजपा में जाने के सवाल पर उन्होंने कार्यकर्ताओं से कहा कि टिकट न मिलने से नाराज होकर छोड़ गए होंगे। कहा कि वे अखिलेश यादव के लिए करहल क्षेत्र में प्रचार करने जाएंगे।
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