संयुक्त राष्ट्र की सुरक्षा परिषद दुनिया की सबसे ताकतवर संस्था मानी जाती है। भारत दुनिया के लिए एक बड़ी ताकत बनकर उभरा है। नतीजा ये हुआ कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की अगुवाई वाले भारत ने 15 सदस्यों वाली संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की अध्यक्षता हासिल कर ली। भारत ने ये जिम्मेदारी फ्रांस से हासिल की है।
इस मौके पर भारत में फ्रांस के राजदूत इमैनुएल लेनैन ने कहा कि उनका देश भारत के साथ रणनीतिक मुद्दों पर जैसे समुद्री सुरक्षा, आतंकवाद के खिलाफ युद्ध और शांति सेना समेत अन्य मुद्दों पर साथ काम करने के लिए प्रतिबद्ध है। रूसी राजदूत निकोले कुदाशेव ने कहा कि फ्रांस की तरफ से जो मुद्दे बताए गए हैं उनसे रूस भी पूरी तरह से सहमत है।
पाकिस्तान के विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता जाहिद हाफिज चौधरी ने कहा कि पाकिस्तान उम्मीद करता है कि भारत अपनी अध्यक्षता में निष्पक्ष रूप से काम करेगा। हाफिज ने ये भी कहा कि भारत का अध्यक्ष बनने का अर्थ ये भी है कि पाकिस्तान जम्मू कश्मीर के मुद्दे को इस मंच पर नहीं उठा सकेगा।
कैसे बना भारत सुरक्षा परिषद में अध्यक्ष
15 सदस्यीय वाली सुरक्षा परिषद में कुछ-कुछ समय के बाद इसके अस्थाई और स्थायी सदस्यों को इसकी अध्यक्षता करने का मौका मिलता है। ये मौका एल्फाबेट के आधार पर दिया जाता है। यूएन में भारत के राजदूत टीएस त्रिपूर्ति ने कहा कि देश के 75वें स्वतंत्रता दिवस से पहले इस अवसर का मिलना वास्तव में बेहद खास अनुभव है।
क्या करेगा भारत
भारत ने अध्यक्ष पद का कार्यभार मिलने के साथ ही अपना काम शुरू कर दिया है। आधिकारिक तौर पर भारत का काम सोमवार 2 अगस्त से शुरू होगा। यूएन में भारत के राजदूत एक प्रेस कांफ्रेंस करेंगे जिसमें इस माह होने वाले काम का ब्यौरा प्रस्तुत किया जाएगा। इसके अलावा वो सुरक्षा परिषद के अस्थाई सदस्यों को भी यूएन के शड्यूल के तहत होने वाले सभी कार्यों का ब्यौरा प्रस्तुत करेंगे।
अगले एक महीने के कार्यक्रम का आधिकारिक एजेंडा यूएनएससी की तरफ से सोमवार को जारी किया जाएगा। एजेंडे में अहम मुद्दों को शामिल करने के लिए भारत अपने महत्वपूर्ण रणनीतिक साझेदार देशों जैसे फ्रांस, अमेरिका, रूस आदि के साथ लगातार संपर्क में है। भारत की तैयारियों को इस बात से समझा जा सकता है कि अगले एक महीने के दौरान यूएनएससी में अलग-अलग आयोजनों को पीएम नरेंद्र मोदी, विदेश मंत्री एस जयशंकर और विदेश सचिव हर्ष श्रृंगला संबोधित करेंगे। पीएम मोदी किस आयोजन को संबोधित करेंगे इसका फैसला अभी होना बाकी है।
यूएन सुरक्षा परिषद का अस्थाई सदस्य भारत
भारत 1 जनवरी 2021 को संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद का अस्थायी सदस्य नियुक्त किया गया था। भारत को दो वर्षों के लिए इसका अस्थायी सदस्य बनाया गया है। भारत दिसंबर 2022 में एक बार फिर से इस पद पर आसीन होगा।
भारत ऐसे समय में यूएनएससी की अध्यक्षता करने जा रहा है, जब वैश्विक स्तर पर कोरोना महामारी, समुद्री सुरक्षा, अफगानिस्तान और आतंकवाद का मुद्दा काफी महत्वपूर्ण है। ये सारे मुद्दे भारत के हितों को भी काफी प्रभावित कर रहे हैं।
बहुत संभव है कि पीएम नरेंद्र मोदी यूएनएससी के किसी एक कार्यक्रम की अध्यक्षता भारत के प्रतिनिधि के तौर पर करें। ऐसा करने वाले वह भारत के पहले प्रधानमंत्री बन सकते हैं।
विदेश मंत्रालय के प्रवक्ता अरिंदम बागची ने कहा है कि भारत मुख्य तौर पर सम्मान, संवाद, सहयोग, शांति व समृद्धि (पांच स) पर जोर देगा।
भारत इसके पहले 1950-51, 1967-68, 1972-73, 1977-78, 1984-85, 1991-92 और 2011-12 में यूएनएससी का सदस्य रहा है।
भारत ने दो माह पहले शुरू कर दी थी तैयारी
अगस्त के लिए तैयारी भारत ने दो महीने पहले से शुरू कर दी थी। इस बारे में विदेश मंत्री ने स्वयं रूस और अमेरिका के विदेश मंत्रियों से बात की है, ताकि यूएनएससी में जिन मुद्दों को भारत आगे लाना चाहता है, उसे व्यापक समर्थन मिल सके।
टीम स्टेट टुडे
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