लखनऊ, 19 नवंबर 2023 : हलाल लिखे उत्पादों की बिक्री पर प्रतिबंध लगाए जाने के बाद पुराने लखनऊ समेत तमाम इलाकों में विक्रेता भूमिगत हो गए। दुकानों से आनन-फानन हलाल लिखा परफ्यूम, चीनी और चायपत्ती, डेयरी उत्पाद, तेल, नमकीन, टूथब्रश और टूथपेस्ट खाद्य तेल आदि हटा दिए गए। दूसरी ओर, इस मामले में जमीयत उलेमा-ए-हिंद हलाल ट्रस्ट के सीईओ नियाज अहमद फारुकी के मोबाइल पर बात करने की कोशिश की गई।
छह बार उनके मोबाइल पर संपर्क किया पर उन्होंने फोन रिसीव नहीं किया। रविवार से खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन की टीम के साथ पुलिस ऐसी दुकानों को चिह्नित करेगी, जहां इन उत्पादों की बिक्री हो रही हो। डीसीपी पश्चिम राहुल राज ने बताया कि पश्चिमी जोन में आठ टीमें बनाई गई हैं। सभी को निर्देश दिए गए हैं कि शासन के आदेशों का पालन कराएं। प्रतिबंधित उत्पादों की बिक्री किसी जगह न हो पाए।
औषधियों, चिकित्सा में प्रयुक्त अन्य सामग्री व सौंदर्य प्रसाधन की लेबलिंग संगत नियमों में निर्धारित प्रावधान के अनुसार न करने, लेबल पर गलत व भ्रामक तथ्य छापने की दशा में औषधि एवं प्रसाधन सामग्री अधिनियम, वर्ष 1940 की धारा-17 और धारा-17 सी के अंतर्गत मिथ्याछाप की श्रेणी में आता है।
यही नहीं अधिनियम में ऐसा कोई प्रावधान नहीं है कि हलाल प्रमाणीकरण का अंकन उत्पादों के लेबल पर किया जाए। ऐसे में अगर इन वस्तुओं पर हलाल प्रमाणीकरण से संबंधित किसी भी तथ्य का प्रत्यक्ष व परोक्ष रूप से अंकन किया जाता है, तो वह उक्त अधिनियम के अंतर्गत मिथ्याछाप होगा।
ऐसे में मिथ्याछाप औषधि, चिकित्सा में प्रयुक्त अन्य सामग्री व प्रसाधन सामग्रियों के विनिर्माण, भंडारण, वितरण, एवं क्रय-विक्रय किया जाना इस अधिनियम की धारा-18 के प्रतिबंधित है और धारा-27 के तहत दंडनीय अपराध है। ऐसे में इसका विनिर्माण व बिक्री इत्यादि करने पर कठोर विधिक कार्रवाई की जाएगी।
मिथ्याछाप वस्तुओं की बिक्री करने पर संस्था का लाइसेंस निरस्त किए जाने और नकली पदार्थ बेचने पर आजीवन कारावास व 10 लाख तक का जुर्माना लगाने की व्यवस्था है। खाद्य सुरक्षा एवं औषधि प्रशासन विभाग जल्द इसके खिलाफ जिलों में छापेमारी अभियान शुरू करेगा।
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